राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने संगम में लगाई आस्था की डुबकी

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प्रयागराज में राष्ट्रपति के दौरे को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था कर दी चाक-चौबंद 

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू डिजिटल महाकुंभ अनुभव केंद्र का करेंगी अवलोकन

प्रयागराज। तीर्थराज की पावन धरा पर सोमवार को देश की प्रथम नागरिक राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने संगम में आस्था की डुबकी लगाई। एयरपोर्ट पर राष्ट्रपति को रिसीव करने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पहुंचे। इसके बाद दोनों संगम क्षेत्र में पहुंचे। वह आज आठ घंटे से अधिक समय तक संगम नगरी में रहेंगी। मां गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती के संगम में राष्ट्रपति ने आस्था की डुबकी लगाकर सनातन आस्था को मजबूत आधार दिया। देश की प्रथम नागरिक का संगम में पावन डुबकी लगाने का यह ऐतिहासिक क्षण है। इसके बाद धार्मिक आस्था को और अधिक मजबूती देने के लिए अक्षयवट का दर्शन-पूजन करेंगी।

राष्ट्रपति का यह दौरा न केवल प्रयागराज के लिए ऐतिहासिक है, बल्कि देशभर के श्रद्धालुओं के लिए भी एक प्रेरणादायी क्षण है। उनकी उपस्थिति से महाकुंभ के धार्मिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महत्व को एक नई ऊंचाई मिल रही है। राष्ट्रपति के दौरे को देखते हुए प्रयागराज में सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद कर दी गई है। बता दें कि इससे पहले भारत के प्रथम राष्ट्रपति डॉ.राजेंद्र प्रसाद ने भी महाकुंभ में पावन स्नान किया था। इस दौरान संगम स्नान के साथ ही यहां अक्षयवट और बड़े हनुमान मंदिर में दर्शन-पूजन करेंगी। सनातन संस्कृति में अक्षयवट को अमरता का प्रतीक माना जाता है। यह हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण स्थल है, जिसकी महत्ता पुराणों में भी वर्णित है। इसके बाद वह बड़े हनुमान मंदिर में भी दर्शन करेंगी और पूजा-अर्चना कर देशवासियों के सुख-समृद्धि की कामना करेंगी।

आधुनिक भारत और डिजिटल युग के साथ धार्मिक आयोजनों को जोड़ने की प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की पहल को राष्ट्रपति समर्थन भी देंगी। वह डिजिटल महाकुंभ अनुभव केंद्र का अवलोकन करेंगी, जिसमें महाकुंभ मेले की विस्तृत जानकारी तकनीकी माध्यमों से उपलब्ध कराई जा रही है। यहां देश-विदेश के श्रद्धालुओं को इस अद्भुत आयोजन को और अधिक निकटता से अनुभव करने के लिए स्थापित किया गया है। राष्ट्रपति शाम पौने छह बजे प्रयागराज से वापस नई दिल्ली के लिए रवाना होंगी।

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